Disclaimer: All information & Charts are given only for educational purpose.You can paper trade only.I am not a SEBI Registered analyst. If you want to trade with real money then take advice from your financial adviser. All rights reserved.
Friday, May 29, 2020
Wednesday, May 27, 2020
Tuesday, May 26, 2020
Reversal Candlestick Patterns
Bullish Reversal Candlestick Patterns-
- दोस्तों ये सभी बुलिश कैंडल स्टिक पैटर्न है जो जब चार्ट में सपोर्ट पर बने तब इन कैंडल स्टिक पैटर्न का यूज़ करे क्योकि इसमें स्टॉप लोस कम होता है और कन्फर्मेशन मिलने के बाद ही इंट्री ले
- Bearish Reversal Candlestick Patterns
Hanging man
- Shooting star candlestick
- Evening star
- Bearish Harami
- दोस्तों ये सभी बेयरिश कैंडल स्टिक है और ये टॉप पर बनती है कन्फ़र्मेशन मिलने के बाद ही एंट्री ले high का स्टॉप लोस्स लगाए
Monday, May 25, 2020
Swing Trading Best Indicator [ देख लो आपके बहुत काम आएगा। ]
Swing Trading Best Indicator-
- इस इंडिकेटर को यूज़ करने के लिए सबसे पहले अपने क्रोमे ब्राउजर को ओपन करे और टाइप करे Tradingview.com
और पहली वाली साइड को ओपन करे
- इसके बाद चार्ट ऑप्शन पर क्लिक करे
- चार्ट ऑप्शन पर क्लिक करने के बाद इंडिकेटर पर क्लिक करे और सर्च ऑप्शन पर टाइप करे swing high low🔻
- और पहली वाली ऑप्शन पर क्लिक करे
- और ये हमारे स्विंग ट्रेड के लिए इंडिकेटर लग चूका
- अब हमे कुछ सेटिंग करने तो हम टूल की सेटिंग पर जायगे
- अब हमे इमेज की अनुसार सेटिंग करनी और ओके पर क्लीक करना
- तो दोस्तों इसमें हमे सटीक सप्पोर्ट एंड रेसिटेंस मिलते जिनका यूज़ करके हम स्विम ट्रेड कर सकते
- और अगर कोई भी प्रॉब्लम हो तो आप वीडियो देख सकते की इस टूल का उपयोग करके कैसे स्विंग ट्रेड करे वीडियो लिंक -https://youtu.be/3Yc4izh8Rkw
Sunday, May 24, 2020
Saturday, May 23, 2020
TradingView paper trading
TradingView Paper Trading-
* सबसे पहले आप ट्रेडिंग व्यू की वेब ओपन करके लॉगिन कर ले
और चार्ट ऑप्शन पर क्लिक करे [ अगर फोटो साफ़ नहीं दिख रही हो तो फोटो पर क्लिक करे ]
क्लिक पेपर ट्रेडिंग ऑप्शन
- दोस्तों आपको १००००० डॉलर मिलते है जिससे आप चाहे जितनी पेपर ट्रेडिंग कर सकते है
- जैसे आप अपने ब्रोकर के चार्ट पर ट्रेडिंग करते उसी तरह आप यँहा भी ट्रेडिंग कर सकते
Thursday, May 21, 2020
Wednesday, May 20, 2020
Tuesday, May 19, 2020
Monday, May 18, 2020
How to start your Day intraday trading
दिन की शुरूआत कैसे करे (How to Start Your Day)-
बहुत सालों पहले की बात नहीं है, जब ऐसा कहा जाता था कि दलाल के
ऑफिस के अलावा निवेश की जानकारी मिलनेवाला एक मात्र साधन अखबार
ही है। शेअर्स का कल का बंद भाव जानना हो तो भी सिर्फ अखबार पर ही
निर्भर रहना पडता था। वैसे हो आपके पास बहुत ही अच्छा अखबार हो तो
स्क्रिप्ट का उतार-चढाँव, व्हॉल्यूम और कुछ नई बातों की जानकारी मिलती
मगर अब यह सभी जानकारीयाँ लेने केलिए कई विकल्प बाजार
उनमें से कुछ विकल्प निचे दिए गए है।
उपलब्ध है।
अखबार
केबल टिव्ही और अन्य प्रसार माध्यम
ईन्टरनेट पोर्टल और खबरों का लगातार आनेवाला प्रवाह
ईन्टरनेट पर उपलब्ध जानकारी
चॅट रूम, एसएमएस
जानकारी पाने के आधुनिक साधनों का उपयोग करने केलिए किमत चूकानी
पडती है। डे ट्रेडर की जरूरतों को ध्यान में लेकर ही इन साधनों को विकसित
किया गया है। इन साधनों में निचे दिए हुए साधनों का समावेश होता है।
टेक्निकल अॅनालिसीस के साधन
* डे ट्रेडिंग केलिए लगनेवाले बुलेटिन
डे ट्रेडिंग केलिए जरूरी चॅट रूम
एकत्रित जानकारी और टेडिंग केलिए प्लॅटफार्म उपलब्ध करानेवाला माध्यमा
ड ट्रूडिंग की शुरूआत करते समय उपर दिए गए साधनों के बारे में जाद
सोचिए मत। आगे दी गई बातों को ध्यान में रखिए, वह आपके ट्रेडिंग दिन
की शुरूआत करने की आदर्श स्थिति है। शेअर बाजार सुबह ९.५५ वजे शरू
होता है परंतु आपको अपना काम सुबह ८.३० बजे से ही शुरू करना चाहिए।
१. अखबार में महत्व की खबरों पर से जल्द नजर घुमाईए। कई बार किसी
विशेष खबर का बाजार के सेंटिमेंन्ट पर प्रभाव होता है। स्टॉक मार्केट की
जानकारी देनेवाले पन्नों को ध्यान से पढिए। हो सके तो ईकोनॉमिक
टाईम्स और मिन्ट जैसे व्यापारी अखबार भी पढ लीजिए।
२. टिव्ही पर चालू वर्तमान खबरों पर विशेष ध्यान दीजिए क्योंकि कई बार
मार्केट के सेंटिमेंन्ट पर उनका भी बडा प्रभाव होता है।
३. अमेरिका और एशिया के शेअर बाजार के इन्डेक्स का भी अभ्यास
किजिए।
इन सबका अभ्यास करने से अपने देश का बाजार किस प्रकार खुलेगा इसका
आपको अच्छी तरह से अंदाजा मिलेगा।
इन सभी बातों का अभ्यास करने के बाद बाजार की संभावित स्थिति कैसी
होगी इसका आपको बराबर अंदाजा होगा। उसी तरह से चार्ट पर भी एक नजर
घुमाईए। आज के दिन में बाजार में कौन से शेअर्स का भाव बढेगा और कौन
से शेअर्स का भाव कम होगा इसका अच्छी तरह निष्कर्ष निकालिए। इन सभी
स्क्रिप्ट का चार्ट देखिए और वह कितने उपर जा सकते है और कितने निचे
आ सकते है इसका भी अभ्यास किजिए।
बहुत सालों पहले की बात नहीं है, जब ऐसा कहा जाता था कि दलाल के
ऑफिस के अलावा निवेश की जानकारी मिलनेवाला एक मात्र साधन अखबार
ही है। शेअर्स का कल का बंद भाव जानना हो तो भी सिर्फ अखबार पर ही
निर्भर रहना पडता था। वैसे हो आपके पास बहुत ही अच्छा अखबार हो तो
स्क्रिप्ट का उतार-चढाँव, व्हॉल्यूम और कुछ नई बातों की जानकारी मिलती
मगर अब यह सभी जानकारीयाँ लेने केलिए कई विकल्प बाजार
उनमें से कुछ विकल्प निचे दिए गए है।
उपलब्ध है।
अखबार
केबल टिव्ही और अन्य प्रसार माध्यम
ईन्टरनेट पोर्टल और खबरों का लगातार आनेवाला प्रवाह
ईन्टरनेट पर उपलब्ध जानकारी
चॅट रूम, एसएमएस
जानकारी पाने के आधुनिक साधनों का उपयोग करने केलिए किमत चूकानी
पडती है। डे ट्रेडर की जरूरतों को ध्यान में लेकर ही इन साधनों को विकसित
किया गया है। इन साधनों में निचे दिए हुए साधनों का समावेश होता है।
टेक्निकल अॅनालिसीस के साधन
* डे ट्रेडिंग केलिए लगनेवाले बुलेटिन
डे ट्रेडिंग केलिए जरूरी चॅट रूम
एकत्रित जानकारी और टेडिंग केलिए प्लॅटफार्म उपलब्ध करानेवाला माध्यमा
ड ट्रूडिंग की शुरूआत करते समय उपर दिए गए साधनों के बारे में जाद
सोचिए मत। आगे दी गई बातों को ध्यान में रखिए, वह आपके ट्रेडिंग दिन
की शुरूआत करने की आदर्श स्थिति है। शेअर बाजार सुबह ९.५५ वजे शरू
होता है परंतु आपको अपना काम सुबह ८.३० बजे से ही शुरू करना चाहिए।
१. अखबार में महत्व की खबरों पर से जल्द नजर घुमाईए। कई बार किसी
विशेष खबर का बाजार के सेंटिमेंन्ट पर प्रभाव होता है। स्टॉक मार्केट की
जानकारी देनेवाले पन्नों को ध्यान से पढिए। हो सके तो ईकोनॉमिक
टाईम्स और मिन्ट जैसे व्यापारी अखबार भी पढ लीजिए।
२. टिव्ही पर चालू वर्तमान खबरों पर विशेष ध्यान दीजिए क्योंकि कई बार
मार्केट के सेंटिमेंन्ट पर उनका भी बडा प्रभाव होता है।
३. अमेरिका और एशिया के शेअर बाजार के इन्डेक्स का भी अभ्यास
किजिए।
इन सबका अभ्यास करने से अपने देश का बाजार किस प्रकार खुलेगा इसका
आपको अच्छी तरह से अंदाजा मिलेगा।
इन सभी बातों का अभ्यास करने के बाद बाजार की संभावित स्थिति कैसी
होगी इसका आपको बराबर अंदाजा होगा। उसी तरह से चार्ट पर भी एक नजर
घुमाईए। आज के दिन में बाजार में कौन से शेअर्स का भाव बढेगा और कौन
से शेअर्स का भाव कम होगा इसका अच्छी तरह निष्कर्ष निकालिए। इन सभी
स्क्रिप्ट का चार्ट देखिए और वह कितने उपर जा सकते है और कितने निचे
आ सकते है इसका भी अभ्यास किजिए।
Sunday, May 17, 2020
Stock Market Basics
Stock market Basics[भारतीय शेयर बाजार ]=
आर्थिक बाजार (Financial Markets):
आर्थिक बाजार लोगों को शेअर्स, बॉन्ड आदी मे निवेश करने की सुविधा देते
है। आर्थिक बाजार को प्रमुख रूप से दो प्रकारों मे विभाजित किया जा सकता
है। वो है नकद बाजार (मनी मार्केट) और पूंजी (कॅपिटल) बाजार।
नगद बाजार -मनी मार्केट (Money Market):
मनी मार्केट प्रमुख रूप से डेब्ट सिक्युरिटी, जैसे की ट्रेजरी बिल आदी के साथ
संबंधित होता है। उसमे कम समयवाले डेब्ट ईन्स्ट्रमेन्ट का ट्रेडिंग होता है।
शेयर बाजार (Capital Market/Stock Market)=
कॅपिटल मार्केट मे शेअर्स और दीर्घ समयवाले डेब्ट ईन्स्ट्रेन्ट का ट्रेडिंग होता
है। उसमे डेब्ट और शेअर्स ईन दोनों का ट्रेडिंग किया जाता है।
कॅपिटल मार्केट को और भी दो प्रकार के बाजार मे विभाजीत किया जा सकता
प्राईमरी मार्केट
सेकेन्डरी मार्केट
प्राईमरी मार्केट मे कंपनी स्वयं के शेअर्स लोगों को निवेष करने के लिए
पहली बार ऑफर करती है। यह एक ऐसा माध्यम है की जिसकी मदद से
औदयोगिक क्षेत्र की संस्थाए या कंपनीया उनकी योजनाओं के विस्तार
केलिए जरूरी रकम जमा करते है।
* सेकेन्डरी मार्केट मे लिस्ट हुए शेअर्स का ट्रेडिंग किया जाता है। इसके
द्वारा लोगों को एक ऐसा प्लॅटफॉर्म मिलता है जहापर वो शेअर्स, डेब्ट,
डिबेन्चर आदी की लेन-देन करके टेडिंग कर सकते है। आज कीऔद्यागिक संस्थाओं केलिए यह एक उतलम मिडियम बना है उरूरी र्कम
अमा करने और नियेधकी की अच्छी और फायदेम्ंद कंपनीयो मे निवेध
करने का मीका मिलता है।
भारत मे सभी प्रादेशिक शैश्र वाजारों के एक्सचेन्द्र उपलब्ध है जिन्मे
कंपनीयो के शेयर का टैडिंग किया जाता है। पर इनमे बताने लायक
प्रमुख दो ही एक्सचेन्ज है, जिनमे जादातर शेयर का अच्छे व्हॉल्युम के
साथ ट्रेडिंग होता है।
बॉप्ये स्टॉक एक्सचेन्न बी. एस.ई (Bombay Stock Exchange
यह सिर्फ भारत का ही नही बल्कि संपूर्ण एशिया का एक पुराना स्टॉक
एक्सचेन्ज है।
भारतका यह पहला सरकारी अनुमतीवाला एक्सचेन्र है।
* वी.एस.ई, मे बोल्ट के आधार पर शे्अर्स का ऑनलाईन ट्रेडिंग किया
जाता है।
वी,एस.ई, ने भारत मे ४०० से भी अधिक शहरों में अपनी सेवा शुरू की है
नेशनल स्टॉक एक्सचेन्ज एन.एस.ई (National Stock Exchange
* नेशनल स्टॉक एक्सचेन्ज (एन.एस.ई.) मे अप्रेल १९९४ से होलसेल
डेब्ट मार्केट मे ट्रेडिंग शुरू हुआ और जून १९९४ मे कॅपिटल मार्केट
यानकी शेअर्स का ट्रेडिंग शुरू हुआ।
तब से आजतक वह एक अच्छे व्हॉल्यूमवाला एक्सचेन्ज बना है।
उसने एनएससीसीएल (NSCCL) की रचना की है जो क्लीअरींग और
सेटलमेन्ट का कार्य करती है।
एन.एस.ई, भारत मे उसके टर्मिनल का अच्छा खासा नेटवर्क है।
. एन.एस.ई. ईटरनेट पर भी ट्रैडिंग की सुविधा दी जाती है।
(Note):
बोकर को एक्सचन्ज का सभासद होना पडता है, जिस से निवेषक उनकी मदद
में बाजार मे ट्रेडिंग कर सकते हैं। फिलहाल दोनों बाजार मे ट्रेडिंग का समय
यह सुबह ९:०० से दोपहर ३:३० के बिच का है।
ईन्डेक्स (Index):
(एन.एस.ई.) और (बी.एस.ई.) मे लिस्ट हुए हाई लिक्वीडीटी (नगद)
वाली कंपनीयो के आधार पर उसकी रचना की जाती है। वहा प्रमुख रूप
से दो ईन्डेक्स की चर्चा की जाती है सेन्सेक्स और निफ्टी के सेक्टर पर
आधारीत कई और भी ईन्डेक्स उपलब्ध है।
सेन्सेक्स (Sensex):
बी.एस.ई. पर आधारीत ईन्डेक्स को "सेन्सेक्स" कहा जाता है।
उसकी रचना प्रथम १९८५ मे हुई और उसकी गिणती मार्केट
कॅपिटलायजेशन वेटेड तरीके से हुई।
बी.एस.ई. मे विविध क्षेत्रपर प्रभुत्ववाले "३०" कंपनीयों का समावेष किया
गया है।
बी.एस.ई. का १९७८-७९ यह बेस वर्ष कहके माना जाता है।
भारतीय अर्थतंत्र की स्थिती का चित्रण करने केलिए उसे बहुत ही
महत्वपूर्ण समझा जाता है।
निफ्टी (Nifty):
एन.एस.ई. पर आधारीत ईन्डेक्स को "निफ्टी" कहा जाता है।
एन.एस.ई. मे २२ विविध क्षेत्रों मे प्रभुत्ववाली "५०" कंपनीयो का
समावेष किया गया है।
उसका रचना बीएसई से कछ अलग है। सेन्सेक्स मे फ्लोटिंग
कीपिटलायजेशन के आधार पर ईन्डेक्सकी गणना की जाती है। जिससे
* निफटी से एक कदम पिछे है और उसकी गणना उसमे के ५० शेअर्स के
संपूर्ण कैपिटलायजेशन से की जाती है।
*. उसकी रचना १९९५ मे हुई और उसका बेस स्तर यह १००० का माना
जाता है।
उसका उपयोग विविध कार्य जैसे की फंड पोर्टफोलिओ, ईन्डेक्सपर्
आधारीत डेरिवेटिव्हज और ईन्डेक्स फंड के बेन्च मार्किंग केलिए किया
जाता है।
फिलहाल फ्युचर्स और ऑप्शन्स यह निफ्टी मे समाविष्ट है।
सेबी -
सिक्योरिटीज अँड एक्सचेन्ज बोर्ड ऑफ इंडिया (SEBI):
सेवी की रचना अप्रेल १२, १९९२ मे हुई। वह प्रमुखरूप से केंद्रीय
सरकार के नियंत्रण की भूमिका निभाती है।
उसका मुख्य हेतू और कार्य निचे की तरह है।
* उसकी मूलभूत जिम्मेदारी निवेषकों के हितों का रक्षण करना यह है और
बाजार मे जरूरी कानून और नियमो का पालन हो रहा है या नही यह
देखना है।
शेअर बाजार की प्रगती और उसके नियमो का पालन।
फ्युचर और ऑप्शन के बाजार का नियमन करना।
पोर्टफोलीओ मॅनेजमेन्ट केलिए जरूरी मार्गदर्शन करना।
शेअर बाजार और अन्य बाजार के साथ जुडे हुए मध्यस्थ लोगों का
मार्गदर्शन करना।
शेअर ट्रान्सफर एजन्ट और रजिस्ट्रार ईन्हे मार्गदर्शक सूचनाये देना।
आयपीओ, म्युच्युअल फंड और डेब्ट ईन्स्ट्रमेन्ट केलिए योग्य सूचनाये
कंपनी टेकओवर केलिए जरूरी मार्गदर्शन करना।
ईन्साईडर ट्रेडिंग केलिए मार्गदर्शन करना।
औदयोगिक संस्थाओ केलिए आवश्यक आचार संहिता का पालन करना
लिखित स्वरूप में पेश कर सकते।
(Note):
बोकर को एक्सचन्ज का सभासद होना पडता है, जिस से निवेषक उनकी मदद
में बाजार मे ट्रेडिंग कर सकते हैं। फिलहाल दोनों बाजार मे ट्रेडिंग का समय
यह सुबह ९:०० से दोपहर ३:३० के बिच का है।
ईन्डेक्स (Index):
(एन.एस.ई.) और (बी.एस.ई.) मे लिस्ट हुए हाई लिक्वीडीटी (नगद)
वाली कंपनीयो के आधार पर उसकी रचना की जाती है। वहा प्रमुख रूप
से दो ईन्डेक्स की चर्चा की जाती है सेन्सेक्स और निफ्टी के सेक्टर पर
आधारीत कई और भी ईन्डेक्स उपलब्ध है।
सेन्सेक्स (Sensex):
बी.एस.ई. पर आधारीत ईन्डेक्स को "सेन्सेक्स" कहा जाता है।
उसकी रचना प्रथम १९८५ मे हुई और उसकी गिणती मार्केट
कॅपिटलायजेशन वेटेड तरीके से हुई।
बी.एस.ई. मे विविध क्षेत्रपर प्रभुत्ववाले "३०" कंपनीयों का समावेष किया
गया है।
बी.एस.ई. का १९७८-७९ यह बेस वर्ष कहके माना जाता है।
भारतीय अर्थतंत्र की स्थिती का चित्रण करने केलिए उसे बहुत ही
महत्वपूर्ण समझा जाता है।
निफ्टी (Nifty):
एन.एस.ई. पर आधारीत ईन्डेक्स को "निफ्टी" कहा जाता है।
एन.एस.ई. मे २२ विविध क्षेत्रों मे प्रभुत्ववाली "५०" कंपनीयो का
समावेष किया गया है।
उसका रचना बीएसई से कछ अलग है। सेन्सेक्स मे फ्लोटिंग
कीपिटलायजेशन के आधार पर ईन्डेक्सकी गणना की जाती है। जिससे
* निफटी से एक कदम पिछे है और उसकी गणना उसमे के ५० शेअर्स के
संपूर्ण कैपिटलायजेशन से की जाती है।
*. उसकी रचना १९९५ मे हुई और उसका बेस स्तर यह १००० का माना
जाता है।
उसका उपयोग विविध कार्य जैसे की फंड पोर्टफोलिओ, ईन्डेक्सपर्
आधारीत डेरिवेटिव्हज और ईन्डेक्स फंड के बेन्च मार्किंग केलिए किया
जाता है।
फिलहाल फ्युचर्स और ऑप्शन्स यह निफ्टी मे समाविष्ट है।
सेबी -
सिक्योरिटीज अँड एक्सचेन्ज बोर्ड ऑफ इंडिया (SEBI):
सेवी की रचना अप्रेल १२, १९९२ मे हुई। वह प्रमुखरूप से केंद्रीय
सरकार के नियंत्रण की भूमिका निभाती है।
उसका मुख्य हेतू और कार्य निचे की तरह है।
* उसकी मूलभूत जिम्मेदारी निवेषकों के हितों का रक्षण करना यह है और
बाजार मे जरूरी कानून और नियमो का पालन हो रहा है या नही यह
देखना है।
शेअर बाजार की प्रगती और उसके नियमो का पालन।
फ्युचर और ऑप्शन के बाजार का नियमन करना।
पोर्टफोलीओ मॅनेजमेन्ट केलिए जरूरी मार्गदर्शन करना।
शेअर बाजार और अन्य बाजार के साथ जुडे हुए मध्यस्थ लोगों का
मार्गदर्शन करना।
शेअर ट्रान्सफर एजन्ट और रजिस्ट्रार ईन्हे मार्गदर्शक सूचनाये देना।
आयपीओ, म्युच्युअल फंड और डेब्ट ईन्स्ट्रमेन्ट केलिए योग्य सूचनाये
कंपनी टेकओवर केलिए जरूरी मार्गदर्शन करना।
ईन्साईडर ट्रेडिंग केलिए मार्गदर्शन करना।
औदयोगिक संस्थाओ केलिए आवश्यक आचार संहिता का पालन करना
लिखित स्वरूप में पेश कर सकते।
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INDEX & STOCKS ANALYSIS 01/06/2020- NIFTY 50 CHART ANALYSIS- ITC CHART SBI CHART- This information is only fo...
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